Turmeric Ceremony : विवाह संस्कार से पूर्व क्यों होती है हल्दी लगाने की परंपरा!
July 12, 2024 2025-01-25 8:55Turmeric Ceremony : विवाह संस्कार से पूर्व क्यों होती है हल्दी लगाने की परंपरा!
Turmeric Ceremony : विवाह संस्कार से पूर्व क्यों होती है हल्दी लगाने की परंपरा!
Turmeric Ceremony : आप बिलकुल सही कह रहे हैं! हल्दी की रस्म भारतीय विवाह संस्कारों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
यह रस्म दंपत्ति के लिए शुद्धता, सुख, समृद्धि और सौभाग्य की कामना करती है।
हल्दी की रस्म भारतीय विवाह समारोह का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो दूल्हा
और दुल्हन के लिए सुख और सौभाग्य का प्रतीक मानी जाती है।
रोज़ देख सकूं उसे ऐसा मेरा जी करता है
उसका चेहरा मेरे लिए आज भी हल्दी का काम करता है
हल्दी लगाने की उम्र है मेरी
लड़कियां चुना लगा कर जा रही है
तुमने कहा था हल्दी लगाओ जख्म भर जाएगा
ये तो बताओ दिल के जख्मों को कैसे भरूँ
उसका दिल लगता है लाल ग़ुलाब न रहा
उस दिल पर मेरे इश्क़ की हल्दी चढ़ि है शायद
नन्हे नन्हे पांव हमारे कैसे आए बुलाने को मेरे
बुआ की शादी में भूल न जाना आने को
Turmeric Ceremony
शादी एक ऐसी चोट है जिस पर ज़खम
लगने से पहले ही हल्दी लगायी जाती है
मिलन है दो परिवारों का रस्म है खुशी मनाने का
हमें तो इंतजार है बस आपके आने का
वो मेहंदी के हाथों में क्या तराशेंगे नाम हमारा
जब नाम ही छुपा लिखा है उनके हाथों में
बड़ा वक़्त लगता है जल्दी से नहीं भरते
ये ज़ख्म दिलों के हैं हल्दी से नहीं भरते
तुझ बिन क्या जीना जीना तेरे संग
न जाने कब लगेगा इन हाथों में हल्दी का रंग
वो छा गये है कोहरे की तरह मेरे चारों तरफ न
कोई दूसरा दिखता है ना देखने की चाहत है
Turmeric Ceremony
मोहब्बत एक तरफा होती तो जुदाई भी सह लेते
दर्द तो इस बात का है की मोहब्बत उसे भी थी
मत पूछो की प्यार करने की क्या कीमत चुकाई है मैंने
खुद को दांव पर लगाकर अपने हाथों से अपनी हस्ती मिटाई है मैने
दूर रहकर भी जो समाया है मेरी रूह में पास
वालों पर वो शख्स कितना असर रखता होग
फीके पड़ गए हैं मेरे रंग इसलिए हल्दी लगाई जा रही है,
तेरे नाम के रंगों को चढाने की शुरुआत की जा रही है
चुरा के मुट्ठी में दिल को छुपाए बैठे हैं,
बहाना ये है कि हल्दी लगाए बैठे हैं
मैं तो कब से लगाकर बैठी हूँ तुम्हारे नाम की मेहंदी
और चेहरे पर हल्दी तुम बारात ले आओ जल्दी
Turmeric Ceremony
हर किसी को हो रही हैं जल्दी
होने जा रही है दूल्हा दुल्हन की हल्दी
हमारी मोहब्बत का आज रंग निखार आया है
हम दोस्त चाहने वालों ने आज हमें हल्दी लगाया है
हल्दी की रस्म में दुल्हन की खुशी देखते ही बनती है
वो इतनी खुश है जैसे कोई परी हो
हल्दी की रस्म में सब मिलकर खेलते हैं
और साथ में गाते हैं हल्दी की मधुर धुन
हल्दी का त्योहार खुशियों की बहार लाए
आपके जीवन में प्यार का सितार।
रंगों की महफिल खुशियों का मेला
हल्दी का त्योहार प्यार का नजारा
हमारी मोहब्बत का आज रंग
निखार आया है हम दोस्त चाहने
वालों ने आज हमें,हल्दी लगाया है.
उसका दिल लगता है लाल ग़ुलाब न रहा
उस दिल पर मेरे इश्क़ की हल्दी चढ़ि है शायद
हमारी मोहब्बत का आज रंग निखार आया है
हम दोस्त चाहने वालों ने आज हमें हल्दी लगाया है
सिंगल लोग इस बार हल्दी से होली खेलें
शादी वाली फीलिंग्स आयेगी क़सम से
मैनें उसके घर में पहली बार कदम रखा
उसे किसी और के नाम की हल्दी लगाने के लिए
रोज़ देख सकूं उसे ऐसा मेरा जी करता है
उसका चेहरा मेरे लिए आज भी
हल्दी का काम करता है
इधर मेरी आंखें अश्कों से होंगी गीली
उधर उसके हाथों में लगेगी हल्दी पीली